Shighrapatan ka ilaj | शीघ्रपतन का इलाज
Shighrapatan ka ilaj | शीघ्रपतन का इलाज
● शीघ्रपतन क्या होता है-shighrapatan kya hota hai
शीघ्रपतन का इलाज करने से से पहले यह जानना बहुत जरूरी है की शीघ्रपतन क्या है या फिर वाकई में शीघ्रपतन क्या होता है। क्योंकि अगर आप किसी चीज को जाने बिना उसका इलाज या मन में भ्रम बनाकर उसका समाधान खोजेंगे तो फिर आपको कोई समाधान नहीं मिलेगा।
शीघ्रपतन क्या है का जवाब यह है कि जब कोई व्यक्ति संभोग करते समय यानी स्त्री की योनि में अपना लिंग प्रवेश करने के बाद झटके लगाते समय मात्र 1 मिनट में ही इस स्खलीत हो जाए तो उसको शीघ्रपतन कहा जाता है।
आमतौर पर एक सामान्य इंसान एक से चार या पांच मिनट तक टिकता है और इतना नॉर्मल है।
अगर कोई सोचता है कि ज्यादा देर तक संभोग करने से स्त्री संतुष्ट होती है तो ऐसा 90% मामलों में नहीं होता है। क्योंकि पुरुष के सिर्फ लिंग में और दिमाग में सेक्स समाया होता है। परंतु स्त्री के पूरे शरीर यानी सर से पांव तक हर हिस्से में काम समाया होता है।
अगर आप स्त्री को उत्तेजित किए बिना सेक्स करेंगे तो फिर आप चाहे 5 मिनट सेक्स करें या 10 मिनट, वो संतुष्ट नहीं होगी। बल्कि उसको दर्द जरूर होगा। स्त्रियों का सबसे कामुक अंग उनका क्लाइटोरिस, स्तन, हाथ, कान, नाभि, जांघ, गर्दन और जांघों का जोड़ होता है।
अगर एक महिला को 15 से 20 मिनट तक इन जगहों पर पहले सहलाएं, चूमे और हल्के दाँतों से काटें तो स्त्री को चरम सुख की अनुभूति इसी से हो सकती है। उसको लिंग की जरूरत भी नहीं पड़ेगी।
एक पुरुष को अपनी वासना को शांत करने के लिए इंटर कोर्स यानी योनी में लिंग डालकर घर्षण करना पड़ता है । आशा करते हैं कि आप समझ गए होंगे की शीघ्रपतन क्या होता है या वाकई में शीघ्रपतन क्या है अब आगे बात करते हैं की शीघ्रपतन क्यों होता है shighrapatan kyu hota hai.
शीघ्रपतन क्यों होता है- shighrapatan kyu hota hai
शीघ्रपतन होने के लिए कई सारे कारण जिम्मेदार है जैसे:-
- तली भुनी और मिर्च मसालेदार चीजों का ज्यादा सेवन करना,
- शरीर में चर्बी बढ़ जाना,
- टेस्टोस्टेरोन का लेवल कम हो जाना,
- कार्य का बोझ हो जाना,
- अधिक आलस में रहना,
- शरीर का कम उपयोग करना या शरीर का ज्यादा उपयोग करना,
- मानसिक स्वास्थ्य सही ना होना,
- शरीर में कमजोरी होना,
- पौष्टिक चीजों का अच्छी तरीके से सेवन न करना,
- शरीर में खून की कमी,
- लिंग सही से उत्तेजित न होना आदि।
की वजह से व्यक्ति को शीघ्रपतन हो जाता है। वहीं अगर शीघ्रपतन क्यों होता है इसके वास्तविक कारण की बात करें तो वह है तनाव होना या दुख होना।
वास्तव में देखा जाए तो संभोग का संबंध हमारे दो जांघों के बीच में उपस्थित लिंग से नहीं बल्कि दिमाग से होता है। यानी जिसका दिमाग एक्टिव और तनाव मुक्त रहेगा उसको शीघ्रपतन की समस्या ज्यादा नहीं होगी। क्योंकि हमारे सेक्स का पूरा कंट्रोल हमारे दिमाग में ही होता है।
शीघ्रपतन क्यों होता है 5 कारण- 5 virya jaldi girne ke karan
virya jaldi girne ke karan 1- हस्तमैथुन
हस्तमैथुन इसका सबसे मुख्य कारण है।क्योंकि जब कोई व्यक्ति हस्तमैथुन करता है तो वह अपने मुट्ठियों के बीच में लिंग को दबाकर आगे पीछे करता है और 1 दिन में कई बार करता है।
चूंकि आदमी के हाथ की अंगुलियां योनियों की अपेक्षा थोड़ा कठोर होती हैं जिस कारण है लिंग की नसें और वीर्य को रोकने वाली पेशियां कमजोर हो जाती हैं और फिर शीघ्रपतन होने लगता है।
virya jaldi girne ke karan 2- गलत खान पान
खानपान का प्रभाव हमारे शरीर की सभी क्रियाओं और अंगों पर पड़ता है। आयुर्वेद के अनुसार= तले-भुने मिर्च मसालेदार और नशीले पदार्थ जैसे पान ,गुटखा,तंबाकू,भांग, चरस, गांजा,शराब आदि। यह सब शरीर में गर्मी पैदा करते हैं जिस कारण वीर्य पतला और कम हो जाता है।
नशीले पदार्थों के सेवन का दुष्प्रभाव सबसे ज्यादा हमारे पाचन और नर्वस सिस्टम पर पड़ता है। जिस कारण हमारा पाचन और नर्वस सिस्टम कमजोर हो जाता है और हम ज्यादा देर तक वीर्य को रोक नहीं पाते।
virya jaldi girne ke karan 3- कामकला ज्ञान का अभाव:-
कामकला ज्ञान का अभाव भी इसका मुख्य कारण है क्योंकि कामकला के ज्ञान से अनजान व्यक्ति स्त्री को पूर्ण रूप से उत्तेजित नहीं कर पाता और स्त्री को स्खलित करने से पहले स्वयं स्खलित हो जाता है।
virya jaldi girne ke karan 4- गलत स्थान और परिस्थिति:-
अगर कोई शोक, चिंता, थकान और डर की परिस्थिति में सेक्स करता है, या किसी ऐसी जगह पर सेक्स करता है जहां किसी के देखने का डर रहता है। तो ऐसी जगहों पर भी शीघ्रपतन हो जाता है क्योंकि ऐसी जगहों पर कोई देख ना ले ऐसा डर बना होता है और जल्दीबाजी में शीघ्रपतन हो जाता है।
virya jaldi girne ke karan 5- यौनांगों में संक्रमण:-
अगर प्रोस्टेट ग्लैंड या पेशाब की नली में इन्फेक्शन हो या सेक्स के समय मलाशय और मूत्राशय भरा हो तो उस के दबाव के कारण भी जल्दी वीर्यपात हो जाता है।
शीघ्रपतन रोकने के उपाय- shighrapatan ko kaise roke
एक सामान्य मानव को शरीर से संबंधित जब कोई समस्या होती है तो वह सबसे पहले दवा खोजता है। परंतु बिना दवा के सिर्फ शीघ्रपतन रोकने के उपाय के द्वारा भी हम शीघ्रपतन को कंट्रोल कर सकते हैं। इसके लिए कुछ बातों पर ध्यान देना जरूरी है जैसे:-
शीघ्रपतन को रोकने के लिए आप जब भी संभोग करने जाए तो खाना खाने के 1 या 2 घंटे बाद ही संभोग करें।
ऐसा इसलिए क्योंकि खाना खाने के बाद हमारे पेट को रक्त की अधिक आवश्यकता होती है और ऐसे में पेट भरा होता है।
इसका असर और भार हमारे यौनांगों पर पड़ता है जिस वजह से हमारी यौनांग एक्टिव नहीं हो पाते हैं और कार्य नहीं कर पाते हैं।
अगर आपके शरीर में कमजोरी है तो पौष्टिक चीजों का सेवन करें और अपने शरीर को ठीक करें।
अपने मन को शांत करने के लिए रोज सुबह अनुलोम विलोम और भ्रामरी प्राणायाम करें इससे आपका दिमाग शांत होता है।
अपने यौनांगों को और पेट को मजबूत करने के लिए कपालभाति जरूर करें। इससे आपके पेट की पेशिया और सारे अंग मजबूत होते हैं। साथ ही साथ इसे यौनांग भी मजबूत होते हैं। कपालभाति करना बहुत आसान है और अनुलोम विलोम करने से आपका दिमाग शांत होता है।
● शीघ्रपतन का घरेलू इलाज- shighrapatan ka gharelu upay, shighrapatan ka desi ilaj
सिर्फ दवा से नहीं बल्कि हम घर पर शीघ्रपतन का घरेलू इलाज भी कर सकते हैं। शीघ्रपतन का घरेलू इलाज करने के लिए अपने भोजन में सादा और सात्विक भोजन ले।
अधिक तली भुनी मिर्च मसालेदार चीजों का सेवन कम करें और अपने भोजन में सलाद तथा फलों को ज्यादा शामिल करें।
ताकतवर चीजें जैसे पनीर, उबले हुए अंडे, बॉईल मीट, मछली, सूखे मेवे काजू, बादाम, किशमिश, छुहारा, मूंगफली, नारियल इत्यादि चीजों का सेवन ज्यादा करें। इससे वीर्य बढ़ता है, शरीर में ताकत बढ़ती है, खून बढ़ता है और शरीर की कमजोरी ठीक होती है।
● शीघ्रपतन की आयुर्वेदिक दवा,shighrapatan ki ayurvedic dawa
शीघ्रपतन की आयुर्वेदिक दवा की बात करें तो इसके लिए बहुत सारी आयुर्वेदिक दवाइयां दी जा सकती है। परंतु हम आपको मेडिकल से ली जाने वाली दवाई ज्यादा नहीं बता सकते हैं।
क्योंकि वह अधिकतर डॉक्टर के सलाह से ली जाती है और सब दवाइयां रिसर्च करके बनाई जाती है। यह दवाइयां अलग-अलग व्यक्तियों पर अलग-अलग असर करती हैं। इसके लिए आप घर पर आयुर्वेदिक दवाई बनाकर इनका इस्तेमाल कर सकते हैं।
शीघ्रपतन के लिए अश्वगंधा और शिलाजीत बहुत लाभदायक साबित होते हैं। आप चाहे तो किसी भी आयुर्वैदिक स्टोर से इन दोनों दावाओं को लाकर इस्तेमाल कर सकते हैं।
अश्वगंधा पाउडर के रूप में आसानी से बाजारों में मिल जाता है यहां तक की यह टैबलेट और कैप्सूल में भी मिल जाता है। अश्वगंधा पाउडर को प्रयोग करने के लिए रोज सुबह शाम 1 से 2 चम्मच अश्वगंधा और मिश्री मिले हुए दूध के साथ मिलाकर प्रयोग करें।
इसके साथ में ही एक कैप्सूल शिलाजीत या फिर लिक्विड शिलाजीत एक नाखून के बराबर मिलाकर प्रयोग करें।
शीघ्रपतन की आयुर्वेदिक दवा के रूप में यह बहुत अच्छी तरीके से काम करती है और सेक्स की सारी कमजोरी को ठीक करती है।
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